बंता : कहां से आ रहे हो, संता भाई...?
संता : मत पूछ यार, अपनी सास का अंतिम संस्कार करके आ रहा हूं...
बंता : लेकिन तेरे चेहरे पर ये खरोंचें कैसे आईं...?
संता : क्योंकि उन्हें जलाने से पहले मुझे उनके साथ भयंकर लड़ाई लड़नी पड़ी...

चुटकुला ऐसी संज्ञा है, जिससे कोई भी अपरिचित नहीं... हंसने-हंसाने के लिए दुनिया के हर कोने में इसका प्रयोग होता है... खुश रहना चाहता हूं, खुश रहना जानता हूं, सो, चुटकुले लिखने-पढ़ने और सुनने-सुनाने का शौकीन हूं... कुछ चुनिंदा चुटकुले, या हंसगुल्ले, आप लोगों के सामने हैं... सर्वलोकप्रिय श्रेणियों 'संता-बंता', 'नॉनवेज चुटकुले', 'पति-पत्नी' के अलावा कुछ बेहतरीन हास्य कविताएं और मेरी अपनी श्रेणी 'शरारती सार्थक' भी पढ़िए, और खुद को गुदगुदाइए...
Thursday, November 19, 2009
सास का अंतिम संस्कार
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zakas
ReplyDeleteShukriya... :-)
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